Madhya Pradesh Me Kitne Jile hai?
वर्तमान सन् 2023 में मध्यप्रदेश राज्य के कुल जिलों की संख्या बावन 52 हैं। पिछले दस सालों में Mp में सात नये डिस्ट्रिक्ट का गठन किया गया। आज आप इस लेख के माध्यम से मध्यप्रदेश के सभी जिले के नाम व उनकी क्या विशेषता है, इसके बारे में संक्षिप्त परिचय पढ़ेंगे।
1. आगर मालवा जिला Agar-Malwa District
आगर मालवा जिले का इतिहास 4000 साल से भी पुराना है। बड़ागांव, सोयतकला, सुसनेर, आदि इस जिले के प्रमुख केंद्र है, इन जगहों पर कायथा संस्कृति के अवशेष भी मिले हैं। दुष्ट मुगल शाषक यहाँ पर गर्मियां में अपना गुजारने के लिए आते थे। यहाँ पर गर्मियों के समय अन्य क्षेत्रों की तुलना में तापमान कम रहता हैं। इस जिले में वन कम होने के कारण पशु-पक्षियों की प्रजातियां कम है। वही बैजनाथ महादेव मंदिर, माँ बगलामुखी मंदिर, मोतीसागर तालाब, सोमेश्वर मंदिर, माँ तुलजा, माँ पचेटी माता, चौसठ योगिनी, मंशापूर्ण गणपति, केवड़ा स्वामी भैरवनाथ मंदिर प्रमुख पर्यटन स्थल है।
2. अलीराजपुर जिला Alirajpur District
अलीराजपुर जिले के अधिकतर निवासी भील जनजाति के है। यहाँ पर 15 वी शताब्दी में आदिवासी राजाओं का शाषन हुआ करता था। 17 मई, 2008 को अलीराजपुर को एक अलग जिला बना दिया गया। इसी जिले के भाभरा में क्रांतिकारी चंदशेखर आजाद का जन्म हुआ था वही साहसिक गतिविधि व प्राकृतिक सौंदर्य को देखने के लिए कट्टीवाड़ा नामक स्थान है।
3. अनूपपुर जिला Anuppur District
अनूपपुर जिले में अधिकतर हिस्सा पहाड़ी क्षेत्रों से घिरा हुआ है। यहाँ पर जंगल भी अधिक है। अगर आपको आदिवासी लोगो की जीवनचर्या देखनी है तो आप इस डिस्ट्रिक्ट में आ सकते हैं। नर्मदा नदी, संत कबीर का चबूतरा, जैनमंदिर, झरना, श्री यत्न मंदिर आदि देखने योग्य स्थल है।
4. अशोकनगर जिला AshokNagar District
यह जिला महाभारत काल से जुड़ा हुआ है। अशोकनगर जिला शुंग, मौर्य, नंद व मगध राज्यो का भाग रहा है। राजा मर्दन सिंह ने इस जिले को आजादी दिलाने में अहम भूमिका निभाई थी।
चंदेरी व आनन्दपुर इस डिस्ट्रिक्ट के मुख्य पर्यटक स्थल है
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5. बालाघाट जिला BalaGhat District
आइये , बालाघाट जिले के इतिहास के महत्वपूर्ण बिंदुओं पर प्रकाश डालते हैं
● 18 वी शताब्दी में दो साम्राज्यों में बाँटा गया।
● भोंसले मराठों ने शासन किया।
● कान्हा रास्ट्रीय उद्यान में आप टाइगर को देख सकते हैं।
● गांगलपुरा बांध झरना, बजरंगघाट, लांजी का किला आदि टूटिस्ट प्लेस है।
6. बड़वानी जिला Barwani District
बड़वानी जिले का गठन 25 मई 1998 को हुई। इतिहास की दृष्टि से सागर विलास पैलेस, सिध्द नगर, चूलगिरी और बावनगजा महत्वपूर्ण स्थान रखते हैं। नागलवाड़ी पर्यटक स्थल में आप एडवेंचर, धार्मिक स्थल, प्राकृतिक सौंदर्य आदि का आनंद ले सकते हैं।
7. बैतूल जिला Betul District
भारत की सभी पवित्र नदियों में से एक ताप्ती नदी का उद्गम स्थल यही है। शाषक अकबर के नवरत्न में से एक टोडरमल का मुख्य स्थान बैतूल जिले में ही था। देखने लायक जगहों में खेडलादुर्ग, मुक्तागिरी, कुकरू, बालाजीपुरम व मलाजपुर है। मलाजपुर में प्रतिवर्ष गुरु बाबा साहब का मैला लगता है जहाँ पर हजारो की संख्या में श्रद्धालु आते हैं।
8. भिण्ड जिला Bhind District
भिण्ड जिले का महाभारत काल में पौराणिक महत्व बताया जाता हैं। इसके अलावा नन्द वंश मौर्य वंश, शुंग वंश के शाषको ने भी यहाँ पर अपना शाषन किया। इसके अलावा दुष्ट मुगलों व नालायक अंग्रेजो ने इस जिले पर राज भी किया व लूटा भी खूब।
9. भोपाल जिला Bhopal District
भोपाल जिला मध्यप्रदेश की राजधानी होने के कारण सबसे लोकप्रिय व महत्वपूर्ण है। भोपाल जिला हर क्षेत्र, तकनीक, विज्ञान, चिकित्सा में पूर्ण रूप से विकसित हैं। भोपाल में घूमने के लिए असँख्य स्थान मौजूद है। यहाँ के स्थायी व्यंजन काफी मशहूर हैं।
10. बुरहानपुर जिला Burhanpur District
बुरहानपुर जिले को 15 अगस्त 2003 को पूर्व निमाड़ खण्डवा से अलग करके गठन किया गया। इस जिले में सभी धर्मों के महान राजाओं ने शाषन किया है इसलिए आपको सभी धर्मों के धार्मिक स्थल दिख जायेगे। शाही किला व असीरगढ एक टूरिस्ट प्लेस हैं।
11. छतरपुर जिला Chhatarpur District
छतरपुर जिले में अच्छी क़्वालिटी की लकड़ी का उत्पादन किया जाता हैं। इसके अलावा धान, ज्वार व गेंहू की खेती की जाती है। दुनिया के एकमात्र कामुख चित्र से सुसज्जित खजुराहो का जैन मंदिर इसी जिले में स्थित हैं।
12. छिंदवाड़ा जिला Chhindwara District
छिंदवाड़ा जिले के नाम के पीछे दो रौचक कहानियां हैं। पहली तो ये की खजूर के पेड़ के अंग्रेजी नाम के कारण दूसरा पहले इस क्षेत्र में शेरो की आबादी अधिक थी, इसलिए भी इसका नाम सिंहद्वारा से छिंदवाड़ा पड़ गया। यहाँ पर स्वतंत्रता आंदोलन, राजा बुलंद का शासन, जंगल सत्याग्रह जेसे आदि अच्छे कार्यो की शुरुआत हुई थी। पातालकोट, पेंच राष्ट्रीय उद्यान, तामिया आदि पर्यटक स्थल है
13. दमोह जिला Damoh District
दमोह जिले में कई प्राचीन ऐतिहासिक भगवान विष्णु, शिव व पार्वती देवी की मूर्तियां देखी जा सकती हैं। इसके अलावा डिस्ट्रिक्ट का नाम हिन्दू पौराणिक कथाओं के राजा नाल की पत्नी दमयंती से आता हैं। जटाशंकर, नोहलेश्वर मंदिर, गिरीदर्शन जेसे अनेक देखने लायक जगह है।
14. दतिया जिला Datiya District
इतिहास के अनुसार इस जिले का गठन राओ दतिया या बीर सिंह देव ने किया। आपके लिए रुचिकर स्थलों में पीताम्बरा शक्तिपीठ एक प्रसिद्ध स्थल है। इसके अलावा सोनगिरि जैन मंदिर, बीर सिंह महल, राजगढ़ पैलेस आप सड़क रेल या बस द्वारा आ सकते हैं।
15. देवास जिला Dewas District
देवास का क्षेत्रफल 7020 वर्ग किलोमीटर हैं, यहाँ की स्थानीय भाषा हिंदी हैं। गिदीयो जलप्रपात पर्यावरण प्रेमियों के लिए वरदान है। इसके अलावा पंवार छत्री व कांवड़िया पहाड़ी भी अच्छी रमणीय जगह है।
16. धार जिला Dhar District
धार डिस्ट्रिक्ट एक ऐतिहासिक तथा सांस्कृतिक दृष्टि से मध्यप्रदेश व भारत के लिए एक अहम स्थान माना जाता है। यहाँ पर महान कवि, विद्वान, लेखकों व राजाओं ने जन्म लिया था। अगर आपको खूबसूरत महल की इमारतें देखनी है तो धार सबसे बढ़िया जिला है यहाँ पर आप रूपमती महल, हिंडोला महल व जहाज महल देख सकते हैं।
17. डिंडौरी जिला Dindori District
सन् 1951 तक डिंडौरी का पुराना नाम रामगढ़ जिला था। बाद में, इसका नाम बदल दिया गया। मौर्य, शुंग, चालुक्य और चेदि राजवंशों ने यहाँ पर शासन किया था। यही पर अंग्रेजो से लड़ते हुए क्रांतिकारी बहादुर रानी अवंतीबाई की मौत हुई थी। यहाँ पर टूरिज्म में हिरन पार्क, जीवाश्म उद्यान, जलप्रपात, ग्रामीण जनजाति पर्यटन आदि रोचक करने लायक व देखने लायक गतिविधियां हैं।
18. गुना जिला Guna District
गुना जिला अपने प्राकृतिक सौंदर्य के कारण प्रसिद्ध हैं। यहाँ का टेकरी सरकार हनुमान मंदिर गुना जिला मुख्यालय से पांच किलोमीटर की दूरी पर स्थित हैं। यह एक प्रसिद्ध चमत्कारी मंदिर है इसके अलावा गुना में आप गोपी कृष्ण सागर डैम भी देख सकते हैं।
19. ग्वालियर जिला Gwalior District
ग्वालियर जिला अपने राजपूत राजाओं के शाही परिवार व शाही महलों के लिए जाना जाता है। यह जिला पूरे मध्यप्रदेश ही नहीं बल्की पूरे भारत में प्रसिद्ध हैं। यहाँ के राजघरानों का परिवार अभी भी ग्वालियर में है।
20. हरदा जिला Harda District
यह जिला ब्रिटिश काल में अंग्रेजों का गढ़ था। अंग्रेजो ने अपने फायदे के लिए देश के धन को लूटने के लिए यहाँ पर रेलवे लाइन का निर्माण किया। यही पर दो महान क्रांतिकारी लोगो का जन्म भी हुआ जिसमें महेशदत्त मेशर व श्री बेर ठा का जन्म भी हुआ था।
21. होशंगाबाद जिला Hoshangabad District
होशंगाबाद नाम से ही पता चलता है की यहाँ पर मुगल शासकों व मुस्लिम आक्रमणकारियों का राज रहा था। यहाँ पर रमणीय स्थानों में से रजत प्रपात, पचमढ़ी, वृहद सतपुड़ा राष्ट्रीय उद्यान, सेठानी घाट, आदमगढ़, रॉक चित्त आदि मुख्य है।
22. इंदौर जिला Indore District
इंदौर को एमपी राज्य का दिल भी कहाँ जाता हैं। इंदौर अपने इतिहास पकवान, व्यजन के कारण प्रसिद्ध हैं। इस जिले में बहुत सारे पुरातात्विक महत्व के स्थान आपको देखने को मिलेंगे।
23. जबलपुर जिला Jabalpur District
यह जिला मन्दिरो व झीलों से गिरा हुआ है। जबलपुर जिला में बहुत सारे इंडस्ट्रियल एरिया है व इंडस्ट्रीज मौजूद हैं जिनमें पुस्तक छापने प्रकाशन पब्लिशर ज्यादा है। पुराणों के अनुसार इस जिले का नाम जाबलि ऋषि के नाम पर पड़ा। भेड़ाघाट अपने देश भारत में सबसे अधिक घूमी जाने वाली जगहों की लिस्ट में शामिल हैं। इसके अलावा कचनार सिटी का शिव मंदिर विश्वविख्यात हैं।
24. झाबुआ जिला Jhabua District
झाबुआ जिले पर ब्रिटिश हूकूमत का शासन रहा था। इंदौर-अहमदाबाद स्टेट हाइवे नम्बर 2 पर मौजूद देवझिरी पर्यटक स्थल एकमात्र दर्शनीय स्थल है।
25. कटनी जिला Katni District
कटनी जिले में आप विभिन्न ऐतिहासिक जगहों को देख सकते हैं अगर आपको कटनी के गौरवशाली इतिहास को देखना है तो विजयराघवगढ़ किले को देख सकते हैं। इसके अलावा रुपनाथ धाम सुंदर कैमोर पहाड़ियों के अंदर स्थित हैं। इसके अलावा भगवान वराह अवतार का मंदिर भी आप कटनी जिले में देख सकते हैं।
26. खण्डवा जिला Khandwa District
इस जिले पर सभी राजवंशों व मुगल शासकों ने शासन किया था। जिसमें बहादुर अली, शाहजहाँ, ओरंगजेब, सिंधिया परिवार, होलकर परिवार, पवार, मराठा आदि का नाम आता है।भारत छोड़ो आंदोलन में इस जिले का महत्वपूर्ण योगदान रहा है। इसके अलावा खण्डवा नगर, ओंकारेश्वर मांधाता तथा इंदिरा गांधी सागर जल पर्यटन स्थल मौजूद हैं।
27. खरगौन जिला KharGone District ( पुराना नाम निमाड़ )
आपको जानकारी के लिए बता दे इस जिले का पुराना नाम निमाड़ था व अभी भी अधिकतर लोग इसी नाम से जानते हैं लेकिन इसका आधिकारिक नाम अब ‘खरगौन’हो गया है। इसका नाम माँ नर्मदा के नाम पर रखा गया। पौराणिक कथाओं के अनुसार इस जिले का महत्व बहुत अधिक है। महेश्वर एक प्रसिद्ध पर्यटक स्थल है
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28. मंडला जिला Mandla Distwt
मंडला जिले में कई जंगल, वनस्पति अधिक है। कान्हा नेशलन पार्क में आप मृग हिरणों को देख सकते हैं। साथ ही यहाँ पर नर्मदा नदी घाट पर लाखों श्रद्धालु माँ नर्मदा की पूजा अर्चना करने आते हैं।
29. मंदसौर जिला MandSaur District
मंदसौर MP स्टेट का एक आध्यात्मिक जिला है। यहाँ पर एक पशुपतिनाथ का मंदिर भी है जहाँ पर आप सारी वैदिक दिनचर्या को देख सकते हैं। मंदिर के नजदीक ही पवित्र नदी भी है। यह डिस्ट्रिक्ट मुख्य रूप से कृषि पर निर्भर रहता है। यहाँ का मौसम बहुत ही अनूकूल है, यानी ना ठंडा ना गर्म।
30. मुरैना जिला Morena District
यह जिला 1857 की क्रांति की याद दिलाता है। जिसमे तात्या टोपे, झांसी की रानी लक्ष्मीबाई जेसे क्रांतिकारियों ने विद्रोह किया। चौसठ योगिनी मंदिर तथा सिहोनिया एक पुरातात्विक महत्व की जगह है।
31. नरसिंहपुर जिला Narsinghpur District
नरसिंहपुर के उत्तरी भाग में नर्मदा नदी ईस्ट से वेस्ट की तरफ बहती है। इस जिले में भारतीय पद्ति के द्वारा बनाया गया शुद्ध देशी काला गुड़ का हर वर्ष मेला लगता है इसके अलावा सतधारा घाट, टोनघाट, बरमनघाट, शिवधाम डमरू घाटी आदि धार्मिक स्थल मौजूद हैं।
32. नीमच जिला Neemuch District
नीमच जिले में तीन उपखंड व सात तहसील है। इस जिले को 1998 में बनाया गया। गांधीसागर बांध देखने लायक है। पूरे MP में भादवामाता मंदिर प्रसिद्ध है। घूमने फिरने व शांति के लिए
सुखानंदजी का आश्रम हैं।
33. निवाड़ी जिला Niwari District
1 अक्टूबर 2018 को इसे टीकमगढ़ से अलग करके नया जिला बनाया गया। यह मध्यप्रदेश राज्य का 52 बावनवां जिला बना। इस जिले से नेशल हाइवे 39 व 44 जुड़ा हुआ है। यहाँ का रामराजा मंदिर जो ओरछा में स्थित है यहाँ के वार्षिक टूरिस्ट की संख्या 7,00000 लाख के करीब है। यहाँ पर भगवान राम को राजा के रूप में पूजा जाता है।
34. पन्ना जिला Panna District
पन्ना को आप ‘न’ के आगे आधा न लिखकर भी नोटबुक में लिख सकते हो। पन्ना जिला राजा छत्रसाल बुंदेला द्वारा राजधानी बनाया गया था।
साथ ही यह जिला पुराने एंवम सुन्दर मंदिरों के लिए प्रसिद्ध है
35. रायसेन जिला Raisen District
ऐतिहासिक दृष्टि से रायसेन जिले का मध्यप्रदेश में बहुत महत्व है इतिहासकारो के अनुसार इसका नाम एक किले नाम पर पड़ा। इसके अलावा भारत के मुख्य पर्यटन स्थलों में से एक विश्व प्रसिद्ध साँची का स्तूप इसी जिले में स्थित हैं।
36. राजगढ़ जिला Raigarh District
राजगढ़ जिले के प्रमाण मध्य भारत के युद्ध में, मुगल राजा अकबर के शासन में मिलता है। यहाँ के ऐतिहासिक स्थलों में 700 साल पुराना चातुरथ नाथ जी का मंदिर व 400 साल पुराना रघुनाथ जी का मंदिर व छगोड़ा में प्रसिद्ध गुफाएं देख सकते हैं।
37. रतलाम जिला Ratlam District
रतलाम की नमकीन शब्द तो आपने सुना ही होंगा। सुना क्या रतलाम की प्रसिद्ध नमकीन खायी भी होंगी। रतलाम क्षेत्रफल की दृष्टि से मध्यप्रदेश के बड़े जिलों में से टॉप दस में शामिल हैं। रतलाम में देखने के लिए बहुत सारे पर्यटक स्थल मौजूद हैं।
38. रीवा जिला Rewa District
रीवा जिला भारत के दो महान व्यक्ति तानसेन व बुद्धिमान बीरबल का जन्म स्थान रहा है। इस जिले को सफेद शेरो की धरती भी कहा जाता है तथा इसका नाम रेवा नदी के कारण पड़ा। प्राचीन काल में यह व्यापार का महत्वपूर्ण केंद्र रहा। सफेद बाघ की सफारी करनी है व चिड़ियाघर देखना है तो एमपी में इस जगह पर आ जाओ।
39. सागर जिला Sagar District
इस जिले का इतिहास 1660 ईस्वी सन् से भी पहले का बताया जाता हैं। इसके अलावा आबचन्द की गुफाएं, बलेह, बामोरा, एरन नामक ऐतिहासिक स्थल व राहगीरी देखने लायक जगह है।
40. सतना जिला Satna District
सतना जिला माँ शारदा की नगरी है। यहाँ पर रोजगार के लिए बहुत सारे कारखाने भी खुले हुए हैं। वही बात करे घूमने की जगहों की तो बेंटकेश मंदिर, बड़ा अखाड़ा मंदिर मैहर आदि स्थल मौजूद है।
41. सीहोर जिला Sehore District
सीहोर जिले का एक लंबा चौड़ा और गौरवशाली इतिहास रहा है यहाँ पर शैव, शक्ति, जैन, वैष्णव, बुद्धवादियों और नाथ पुजारी ने अपने कर्म के द्वारा इसको एक महत्वपूर्ण केंद्र बनाया। पुराने समय में सीहोर भोपाल संपत्ति का एक हिस्सा था। ये जिला आध्यात्मिक दृष्टि से भी बहुत महत्वपूर्ण है क्योकी यहाँ पर भगवान राम, लक्ष्मण, सीता और महर्षि पतंजलि ने कुछ समय बिताया था
42. सिवनी जिला Seoni District
सिवनी जिले में आदिवासी परिवार के लोग ज्यादा रहते हैं। नेशनल हाईवे नम्बर-7 (बनारस- कन्याकुमारी) जो उत्तर से दक्षिण तक जिले को जोड़ता है। संजय सरोवर एशिया का सबसे बड़ा मिट्टी बांध सिवनी डिस्ट्रिक्ट में ही बना हुआ है।
43. शहडोल जिला Shahdol District
इस जिले पर ब्रिटिश सरकार ने खूब राज किया। सटिक इतिहास कही पर भी शहडोल का नही लिखा हुआ है। कंकाली मंदिर, विराट मंदिर देखने लायक दर्शनीय स्थल है। बाणसागर बांध जिले का मुख्य आकर्षण का केंद्र हैं।
44. शाजापुर जिला Shajapur District
यह जिला पहाड़ो, नदियों, पठारों व जंगलों से घिरा हुआ है। पार्श्वनाथ मंदिर, करेड़ी माता मंदिर व राजराजेश्वरी माता मंदिर तीनो ऐतिहासिक स्थल है।
45. श्योपुर जिला Sheopur District
जयपुर राजघराने के सामंत गौड़ राजपूत के इंद्रसिंह ने इस जिले का निर्माण किया। गौर राजपूत भगवान शिव की पूजा करते थे। इसलिए कस्बे में कई महादेव जी के मंदिरों का निर्माण किया था।
46. शिवपुरी जिला Shivpuri District
शिवपुरी एक कृषि प्रधान जिला है। मुख्य नदियों में पार्वती, सिंध, कुनो और बेतवा हैं प्राचीन काल में यहाँ पर जंगल थे और जानवरों की एक अच्छी संख्या देखी जा सकती थी। लेकिन वर्तमान में वनों की कटाई की वजह से जंगल घट रहे हैं
47. सीधी जिला Sidhi District
सीधी जिले में सर्वाधिक आदिवासी जनजाति के लोग निवास करते हैं। सीधी जिला मध्य प्रदेश राज्य के गौरवप इतिहास की छाया है, सीधी अपने नेचर, हिस्टोरिकल और स्प्रीचुअल इतिहास के लिए जाना जाता है। महान बुद्विमान बीरबल का जन्म भी यही हुआ था। ल संजय-दुबरी टाइगर रिजर्व व संजय राष्ट्रीय उद्यान में आप शेरो को देख सकते हैं।
48. सिंगरौली जिला Singrauli District
सिंगरौली मध्य प्रदेश राज्य का 50 पच्चास वाँ जिला है, यह प्राकृतिक और खनिज संपदा से समृद्ध एक क्षेत्र है। पुराने समय में अत्यधिक घने जंगल व प्राकृतिक संसाधन होने के कारण इसे उर्जान्चल नाम भी दिया गया था।
49. टीकमगढ़ जिला Tikamgarh District
जिले पर मौर्यों, सुंगों तथा शाही गुप्त इन साम्राज्यों का हिस्सा था। यहाँ के धार्मिक स्थल कुंडेश्वर में साल में तीन बड़े मेले लगते हैं। इसके अलावा आहार जी, पपोरा जी जैन मंदिर, मड़खेरा सूर्य की मूर्ति का मंदिर आदि धार्मिक स्थान मौजूद हैं।
50. उज्जैन जिला Ujjain District
उज्जैन जिले को सत्य सनातन हिन्दू धर्म के पवित्रतम स्थान होने का गौरव प्राप्त है। यहाँ पर महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग बाबा महाकाल का मंदिर पूरे भारत में प्रसिद्ध हैं। यहाँ पर नब्बे प्रतिशत से अधिक हिन्दू श्रद्धालु आते हैं।
51. उमरिया जिला Umariya District
उमरिया जिले की लगभग 83% जनसंख्या ग्रामीण इलाको में निवास करती है। जिले में भरपूर जंगल हैं जिसका प्रतिशत कुल क्षेत्रफल का लगभग 42% हैं। जिले में पाया जाने वाला सबसे महत्वपूर्ण खनिज कोयला है। साथ ही प्रसिद्ध बांधवगढ़ राष्ट्रीय उद्यान एक देखने लायक जगह हैं।
52. विदिशा जिला Vidisha District
विदिशा के बारे में वाल्मीकी रामायण में उदाहरण मिलता हैं। यहीं से प्राचीन एतिहासिक शहर बैसनगर विदिशा से सिर्फ तीन किलोमीटर दूर हैं। जो विदिशा जिले के इतिहास के बारे में हमे बताता है। कहाँ जाता है की मौर्यवंश के बहुत सारे शाषको ने यहाँ पर लंबा समय व्यतीत किया था।
मध्यप्रदेश राज्य में क्या प्रसिद्ध है?
निम्नलिखित बिंदुओ के माध्यम से समझे मध्यप्रदेश की प्रसिद्धि के कारण;
- इंदौर भारत का सबसे साफ सुथरा शहर है। यहाँ पर ढूढने पर भी आपको कचरा नही मिलेगा।
- खेती (अनाज के उत्पादन) में मध्यप्रदेश का तीसरा स्थान है।
- विश्व विरासत स्थलों में 10 से अधिक MP State में बने हुए हैं।
- भगवान महादेव के 12 ज्योतिर्लिंग में से एक ज्योतिर्लिंग महाकाल उज्जैन शहर में बना हुआ है।
- राजा विक्रमादित्य का जन्म भी इसी MP की धरती पर हुआ था
मुझे उम्मीद हैं, आपको मध्यप्रदेश राज्य के सभी जिलों के बारे में दी गईं जानकारी काम आयेगी। सभी मध्यप्रदेश वासियो व भारत के लोगो के साथ यह पोस्ट जरूर शेयर करें।
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